गुरुवार, 24 फ़रवरी 2011

गुमनाम गली के सितारा भी बिखरेलखीन अपन कला के जादू

कोसी महोत्सव 2011 में जेता कईकटा राज्य आ राष्ट्रीय स्तर के कलाकारों सब  आपन कला के जादू  बिख्रेलक, ओही ठाम गुमनाम गली के स्थानीय कलाकार भी आपन कला से लोग सबके ई अहसास करा देलक कि अगर हुनका प्रोत्साहन आ अवसर भेटत तो ओ सभ भी आसमान के  बुलंदि के  छू सकय छि।
सोमवार को स्टेडियम के मंच पर शिवानी कुमारी ने भजन, स्वधीन सिन्हा ने ख्याल, सुम्मी कुमारी व खूशबू ने सुगम संगीत, नीतू खूशबू आ रूपम ने समूह लोकगीत, सरिता, शिल्पी व रूबी ने सुगम संगीत, हनी, रूचिका व तनु ने सरस्वती वंदना व कन्हैया झा ने लक्ष्मीनाथ गोंसाई रचित लोकगाथा प्रस्तुत क के लोगेन सबहक दिल जित लेलक।
ई  मौका पे संत बाबा कारू खिरहरि विकास परिषद के तत्वावधान में नवहट्टा के सत्यनारायण पंजियार, पतराहा के सदानंद पंजियार, बेलवाड़ा के रूदल पंजियार, पंकज, कचरा की रीता कुमारी, भेलवा के विपीन व सरोज, मधेपुरा मदनपुर के बिजेन्द्र पंजियार, नरियार के सुरेश पंजियार व भगवानपुर के बुधन पंजियार सब मिलके अपन  कार्यक्रम प्रस्तुत केलखीन।  आ बता देलखिन जे अगर कोशी के लोग ककरो से कम नै ये|

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

अपन मोनक भावना के एते राखु